छत्तीसगढ़ रिपोर्टर / मो.साजिद खान
एमसीबी (सरगुजा) – चिरमिरी में बीते चार सालों से निवासरत राजा पनिका का 8 वर्षीय पुत्र प्रिंस अब स्कूल में पढ़ाई कर अपना भविष्य गढ़ेगा, जीवन में आगे बढ़ेगा। कलेक्टर पी.एस. ध्रुव की विशेष पहल से प्रिंस को कचरा बिनने से अब छुटकारा मिल सकेगा। चिरमिरी के पोड़ी बाजार स्थित सरकारी स्कूल में उसका दाखिला हो गया। कलेक्टर की पहल से प्रिंस अब सोमवार से स्कूल जा सकेगा और स्कूल जाने के लिए उसको नया ड्रेस, पुस्तक, कॉपी और बैग भी मिल गया है। नगर निगम चिरमिरी के अधिकारी प्रिंस को अपने साथ ले जाकर उसे स्कूल में प्रवेश दिलाए। वह नियमित रूप से स्कूल जाए और अच्छे से पढ़ाई करे, इसकी मॉनिटरिंग भी की जिम्मेदारी नगर निगम प्रशासन को मिली।
मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में कलेक्टर पी.एस. ध्रुव ने प्रिंस जैसे घूमंतू, कचरा बिनने वाले, अनाथ और बेसहारा बच्चों को शिक्षा की व्यवस्था कर उनका भविष्य को संवारने के लिए बाल-जतन अभियान की शुरूआत की है। प्रथम चरण में यह अभियान जिले के सभी नगरीय क्षेत्रों में संचालित होगा। नगरीय निकाय और शिक्षा विभाग के अधिकारी संयुक्त रूप से घूमंतू, कचरा बिनने वाले, अनाथ और बेसहारा बच्चों को चिन्हित कर उनका स्कूल में दाखिला कराया जाएगा। इन बच्चों को पठन-पाठन सामग्री सहित अन्य सुविधाएं भी शासकीय योजनाओं एवं गैर-शासकीय संगठनों के माध्यम से उपलब्ध कराई जाऐंगी।
गौरतलब है कि “सुबह की सैर अपनो की खैर”जैसे स्लोगन रखकर रोजाना वार्डों और विधानसभा क्षेत्र की जनता के हित में प्रयासरत होकर कार्य करने वाले जनप्रतिनिधी की नजर एक बार भी लगता है कि इस क्षेत्र में प्रिंस जैसे घुमंतू बच्चों पर नही पड़ी लेकिन कलेक्टर पी. एस. ध्रुव जब शनिवार सुबह 6 बजे कड़ाके की ठंड के बावजूद आकस्मिक रूप से चिरमिरी नगर निगम के क्षेत्र में पहुंचे और यहां विभिन्न चौक-चौराहों और वार्डाें में पैदल घूमकर साफ-सफाई की व्यवस्था का जायजा ले रहे थे तो इस दौरान पोड़ी बाजार के करीब कचरा बिनते 8 वर्षीय बालक प्रिंस पर कलेक्टर की नजर पड़ी। कलेक्टर उसके पास पहुंचे। फिर उसका नाम, पता और पढ़ाई-लिखाई के बारे में पूछताछ की। कलेक्टर ने प्रिंस को स्कूल जाकर पढ़ाई करने के लिए प्रेरित किया और कहा कि अभी उसकी उम्र पढ़ने-लिखने की है। उन्होंने उसे कचरा बिनने का काम बंद करने और स्कूल जाने की समझाइश दी। यहां यह उल्लेखनीय है कि कलेक्टर ध्रुव के पूछने पर प्रिंस ने बताया कि वह कक्षा दूसरी में पढ़ता है, जबकि बाद में यह हकीकत सामने आयी कि वह स्कूल ही नहीं जाता। कलेक्टर ने नगर पालिक निगम आयुक्त को प्रिंस को पठन-पाठन की सामग्री और ड्रेस उपलब्ध कराने के साथ ही उसका पोड़ी बाजार स्कूल में दाखिला कराने के निर्देश दिए। निर्देश के परिपालन में अब प्रिंस का सरकारी स्कूल में कक्षा चौंथी में दाखिला कराया गया और उसको पठन- पाठन की सारी सामाग्री भी मिल गई। कलेक्टर ने कहा कि जिले में बाल-जतन अभियान के माध्यम से अनाथ, बेसहारा और घूमंतू बच्चों की शिक्षा-दीक्षा में सहयोग के लिए स्वयं सेवी, समाज सेवी संगठनों की भी भागीदारी होगी।