छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
नई दिल्ली 02 दिसंबर 2023। देश में फर्जी खबरें और गलत सूचना बड़ी समस्या बन चुकी है। इस बारे में भारत के प्रधान न्यायाधीश सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि फर्जी खबरों और गलत सूचना में लोकतांत्रिक चर्चा को कमजोर करने की ताकत होती है। फर्जी खबरों का का लक्ष्य सत्यता को नष्ट करना है। जस्टिस चंद्रचूड़ 14वें न्यायमूर्ति वीएम तारकुंडे मेमोरियल व्याख्यान में शामिल हुए। यहां उन्होंने डिजिटल युग में नागरिक स्वतंत्रता को कायम रखना- गोपनीयता, निगरनी और मुक्त भाषण विषय पर संबोधन दिया। उन्होंने कहा कि प्रसार के आधार पर फर्जी खबरें सत्य को खत्म कर देती है। दुष्प्रचार में लोकतांत्रिक चर्चा को हमेशा के लिए खराब करने की शक्ति होती है। स्वतंत्र विचारों के बाजार को नकली कहानियों से भरना है। सीजेआई ने कहा कि दुनियाभर में चाहे वह लीबिया हो, फिलीपींस हो, जर्मनी हो या संयुक्त राज्य अमेरिका भी फर्जी प्रसार से कलंकित हो चुके हैं।
कोविड-19 के दौरान फर्जी खबरों का प्रसार हुआ
सीजेआई ने कहा कि मुझे याद है कोविड-19 के दौरान जब हम महामारी के दौर में थे तब इंटरनेट सबसे अधिक फर्जी खबरों और अफवाहों से भरा था। विद्वानों के लिए वह हास्य का स्रोत था। सीजेआई ने कहा कि डिजिटल युग में गोपनीयता सिर्फ डेटा सुरक्षा तक का मामला ही नहीं है। यह मौलिक अधिकार का मामला है। देश के हर नागरिक की, चाहे उसकी सामाजिक-आर्थिक स्थिति कैसी भी हो निजता उसका अधिकार है।