छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
जयपुुर 17 नवंबर 2021। विश्व कप के शुरुआत में बाहर होने वाली टीम इंडिया रोहित शर्मा की कप्तानी और मुख्य कोच राहुल द्रविड़ की निगरानी में न्यूजीलैंड के खिलाफ बुधवार से शुरू होने वाली तीन टी-20 मैचों की सीरीज में नई शुरुआत करने की कोशिश करेगी। द्रविड़ और रोहित की जोड़ी के पास अगले टी-20 विश्व कप से पहले सबसे छोटे प्रारूप में मजबूत टीम तैयार करने के लिए सिर्फ 11 महीने होंगे।
इस बीच उन्हें टीम में आवश्यक बदलाव और सुधार करने होंगे। यूएई में टी-20 विश्व कप की निराशा के बाद भारत तेज गेंदबाजी ऑलराउंडर में हार्दिक पांड्या से इतर देखने को मजबूर हुआ है। पांड्या चोटिल होने के कारण अपनी ऑलराउंड क्षमता का प्रदर्शन नहीं कर पा रहे हैं। रोहित और द्रविड़ ऑस्ट्रेलिया की परिस्थितियों को ध्यान में रखकर खिलाड़ी की योग्यता को परखना चाहेंगे। ऑस्ट्रेलिया अगले साल टी-20 विश्व कप की मेजबानी करेगा।
भारतीय टीम में पांच ओपनर मौजूद
भारतीय टीम में छोटे प्रारूप के पांच ओपनर हैं और उन्हें मध्यक्रम में उतारना चुनौतीपूर्ण होगा। रोहित और उपकप्तान के राहुल पारी का आगाज कर सकते हैं। किशन और गायकवाड़ के रूप में अधिक विकल्प होने के कारण भारत कुछ प्रयोग भी कर सकता है।
यहां तक कि वेंकटेश ने केकेआर की तरफ से अपने सभी रन ओपनर के रूप में बनाए, लेकिन वह मध्यक्रम में बल्लेबाजी करने के लिए तैयार हैं। सूर्युकुमार विश्व कप के दौरान अपनी लय हासिल नहीं कर पाए, लेकिन वह एक ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्हें भारत विशेषकर ऑस्ट्रेलियाई परिस्थितियां देखकर चौथे नंबर पर तैयार करना चाहता है।
वेंकटेश पर रहेगी सबकी निगाह
आईपीएल में शानदार प्रदर्शन करने वाले वेंकटेश अय्यर को हार्दिक के विकल्प के रूप में देखा जा रहा है। न्यूजीलैंड के खिलाफ तीन मैचों से यह पता चल जाएगा कि उन्हें तेज गेंदबाजी ऑलराउंडर के रूप में तैयार किया जा सकता है या नहीं। भारत बल्लेबाजी विभाग में अधिक ‘पावर हिटर’ को रख सकता है। आईपीएल में कोलकाता नाइटराइडर्स की तरफ से खेलने वाले वेंकटेश ने लंबे और बड़े शॉट खेलने की अपनी क्षमता का खुलकर प्रदर्शन किया है। आईपीएल में अच्छा प्रदर्शन करने वाले जिन अन्य खिलाड़ियों को टीम में चुना गया है उनमें गायकवाड़, हर्षल, आवेश और चहल शामिल हैं। चहल को टी20 विश्व कप टीम से बाहर करने का फैसला काफी विवादास्पद रहा था।
भारत को एक और पेसर की तलाश
बुमराह को सीरीज के लिए विश्राम दिया गया है। ऐसे में भारत एक और तेज गेंदबाज की तलाश करना चाहेगा जो लगातार 140 किमी प्रति घंटे या उससे अधिक की रफ्तार से गेंदबाजी कर सके। यूएई में भी देखा गया था अतिरिक्त तेजी से की गई गेंद लाभ पहुंचाती है। ऐसे में आवेश और सिराज पर सभी की निगाह रहेगी। भुवनेश्वर यूएई में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन नहीं कर पाए थे। उन्हें अपने पुराने रंग में लौटने का एक और मौका दिया गया है। जडेजा को विश्राम देने के कारण अक्षर स्पिन गेंदबाजी ऑलराउंडर की जगह भर सकते हैं। अश्विन के अंतिम एकादश में बने रहने की संभावना है।