वैज्ञानिक का दावा-‘हिमालय क्षेत्र में कभी भी आ सकता है बड़ा भूकंप’, होगी भारी तबाही

Chhattisgarh Reporter
शेयर करे

छत्तीसगढ़ रिपोर्टर

हैदराबाद 22 फरवरी 2023। नेशनल जियो फिजिकल रिसर्च इंस्टीट्यूट (NGRI) के वैज्ञानिक ने दावा किया है कि हिमालय क्षेत्र में जल्द ही बड़ा भूकंप आ सकता है। उन्होंने कहा कि भूकंप की तीव्रता काफी हो सकती है जो क्षेत्र में भारी तबाही ला सकता है। हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि संरचनाओं को मजबूत करके  जान-माल के नुकसान को कम किया जा सकता है। एएनआई की खबर के अनुसार, हैदराबाद स्थित एनजीआरआई के मुख्य वैज्ञानिक डॉ. पूर्णचंद्र राव का कहना है कि धरती की परत कई प्लेट्स से मिलकर बनी है और इन प्लेट्स में लगातार विचलन होता रहता है। भारतीय प्लेट्स हर साल पांच सेंटीमीटर तक खिसक गई हैं और इसकी वजह से हिमालय क्षेत्र में काफी तनाव बढ़ गया है। इसी के चलते हिमालय क्षेत्र में भारी भूकंप आ सकता है। 

8 मैग्नीट्यूड रह सकती है भूकंप की तीव्रता
डॉ. पूर्णचंद्र राव ने कहा कि हिमाचल प्रदेश, नेपाल के पश्चिमी हिस्से और उत्तराखंड में भूकंप आ सकता है। डॉ. राव ने कहा कि रिक्टर स्केल पर इस भूकंप की तीव्रता 8 रह सकती है। डॉ. राव ने कहा कि तुर्किये में आए भूकंप में इतनी भारी संख्या में लोगों की मौत की वजह औसत निर्माण रहा। उन्होंने कहा कि हम भूकंपों को नहीं रोक सकते लेकिन सरकार की गाइडलाइन का पालन करके मजबूत इमारतों के निर्माण किए जाने चाहिए।  

भूकंप को लेकर बेहद संवेदनशील है हिमालय क्षेत्र
बता दें कि हिमालय क्षेत्र भूकंप को लेकर संवेदनशील रहा है। हाल के दिनों में इस इलाके में कई छोटे-छोटे भूकंप आए हैं जो यह संकेत दे रहे हैं कि इस इलाके में जमीन के भीतर कई ऐसी चीजें हो रही हैं, जो भविष्य में किसी बड़े भूकंप का कारण बन सकती हैं। वाडिया इंस्टीट्यूट ऑफ हिमालयन जियोलॉजी के प्रमुख वैज्ञानिक अजय पॉल ने बताया है कि भारतीय और यूरेशियन प्लेट्स के टकराने से हिमालय क्षेत्र अस्तित्व में आया। उनका कहना है कि यूरेशियन प्लेट के भारतीय प्लेट पर पड़ रहे दबाव से भारी ऊर्जा इस इलाके में पैदा होती है और वही ऊर्जा भूकंप के जरिए जमीन से निकलती है। 

हिमालय क्षेत्र में आ चुके हैं चार बड़े भूकंप
बीते दिनों वाडिया इंस्टीट्यूट की रिसर्च में ही खुलासा हुआ था कि हिमालय क्षेत्र के सबसे बड़े ग्लेशियर में से एक गंगोत्री ग्लेशियर बीते 87 सालों में 1.7 किलोमीटर तक खिसक गया है। हिमालय क्षेत्र के अन्य ग्लेशियर में भी ऐसा ही  कुछ हो रहा है। इसके अलावा जोशीमठ में हुआ भू धंसाव भी एक बड़े खतरे की तरफ इशारा कर रहा है। बीते 150 सालों में हिमालय क्षेत्र में चार बड़े भूकंप आए हैं। इनमें साल 1897 में शिलॉन्ग का भूकंप, 1905 में कांगड़ा का भूकंप, 1934 में बिहार-नेपाल का भूकंप और 1950 में असम का भूकंप शामिल हैं। इनके अलावा साल 1991 में उत्तरकाशी में, 1999 में चमोली में और 2015 में नेपाल में भी बड़ा भूकंप आया था। 

Leave a Reply

Next Post

रूस-यूक्रेन युद्ध में चीन के कदम ने बढ़ाई पश्चिमी देशों की टेंशन, अमेरिका ने बताया बड़ा खतरा

शेयर करे छत्तीसगढ़ रिपोर्टर मॉस्को/कीव 22 फरवरी 2023। रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर अमेरिका समेत कई पश्चिमी देश भले ही पुतिन की सेना को ललकारते दिख रहे हों लेकिन चीन ने जो कदम उठाया है उसने इन सभी देशों की चिंता बढ़ा दी है। दरअसल, 24 फरवरी को रूस -यूक्रेन युद्ध […]

You May Like

भारतीय महिला हॉकी टीम में बड़ा बदलाव, सविता पूनिया की जगह सलीमा टेटे बनीं कप्तान....|....‘झुकना आदिवासियों के DNA में नहीं, अन्याय के खिलाफ लड़ते रहेंगे’, कल्पना सोरेन का भाजपा पर हमला....|....2जी स्पेक्ट्रम मामले में केंद्र की याचिका स्वीकार करने से इनकार, सुप्रीम कोर्ट रजिस्ट्री का फैसला....|....जिला पंचायत सदस्य सहित कांग्रेस नेताओं ने थामा भाजपा का दामन, वित्त मंत्री चौधरी के समक्ष पीएम मोदी के नेतृत्व पर जताया विश्वास....|....मई दिवस पर मेहनतकशों ने निकाली रैली, संविधान, जनतंत्र, एकता और धर्म निरपेक्षता की रक्षा का लिया संकल्प....|....छत्तीसगढ़ के आलोक शुक्ला को मिला ‘ग्रीन नोबल’, अमरीका में सम्मानित होते ही उन्होंने महात्मा गांधी से लेकर जयपाल सिंह को किया याद....|....नक्सलियों ने की दो भाईयों की हत्या, जन अदालत में उतारा मौत के घाट....|....'अंधाधुंध निजीकरण से आरक्षण छीन रही मोदी सरकार', तीसरे चरण के मतदान से पहले राहुल ने केंद्र को घेरा....|....इस सप्ताह गुजरात में जुटेंगे भाजपा-कांग्रेस के स्टार प्रचारक....|....एसईसीएल मुख्यालय में खनिक दिवस सोल्लासपूर्ण मनाया गया