छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
नई दिल्ली 12 जून 2022। यूक्रेन-रूस जंग और अनिश्चित वैश्विक आर्थिक हालातों के बीच रविवार से हो रहे विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) की बैठक में भारत खाद्य सुरक्षा कार्यक्रम के लिए अनाज के सार्वजनिक भंडारण के स्थायी समाधान पर जोर देगा। चार साल के अंतराल के बाद हो रही 12वीं मंत्रिस्तरीय बैठक में भारत किसानों और मछुआरों के हितों की रक्षा को मजबूती से रखेगा। डब्ल्यूटीओ में भारत के स्थायी प्रतिनिधि बी नवनीत ने 12वीं विश्व व्यापार संगठन के मंत्रिस्तरीय सम्मेलन के बारे में कहा कि “12 जून को यह विश्व व्यापार संगठन के महानिदेशक और कजाकिस्तान के दूत के संबोधन के साथ शुरू होगा। उसके बाद, ‘बहुपक्षीय व्यापार प्रणाली की चुनौतियां’ नामक एक सत्र शुरू होगा, जिसमें भारत भी भाग ले रहा है।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल की अध्यक्षता में भारतीय प्रतिनिधिमंडल इसमें शिरकत कर रहा है। चार दिवसीय कॉन्फ्रेंस 12 जून से जिनेवा में शुरू हो रही है। पिछली बार 2017 में अर्जेंटीना में बैठक हुई थी। मंत्रिस्तरीय कॉन्फ्रेंस 164 सदस्यीय डब्ल्यूटीयू की शीर्ष निर्णय लेने वाली संस्था है।
यह मुद्दे होंगे अहम
बैठक में कोविड-19 महामारी को लेकर डब्ल्यूटीओ के कार्य, पेटेंट राहत, कृषि और खाद्य सुरक्षा, डब्ल्यूटीओ सुधार, प्रस्तावित मत्स्य पालन सब्सिडी समझौता और इलेक्ट्रॉनिक ट्रांसमिशन पर रोक के विस्तार अहम मुद्दे होंगे।
कृषि एवं खाद्य सुरक्षा : अंतरराष्ट्रीय खाद्य सहायता में मांगी छूट
इस श्रेणी में खाद्य सुरक्षा उद्देश्यों के लिए सार्वजनिक भंडारण, घरेलू सब्सिडी को बनाए रखने-खत्म करने, बाजारों तक पहुंच, विशेष सुरक्षा तंत्र, निर्यात प्रतिबंध और निषेध और पारदर्शिता जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा हो सकती है। पीएसएच कार्यक्रम एक नीति टूल है इसके तहत सरकार किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर चावल और गेहूं जैसे खाद्यान्न खरीदती है और इसका भंडारण कर गरीबों के बीच बांटती है।
डब्ल्यूटीओ का कृषि पर समझौता एमएसपी पर खाद्य खरीदने की सरकार की क्षमता को सीमित करता है। भारत ने इस मसले का फास्ट ट्रैक समाधान की मांग की है। भारत ने डब्ल्यूटीओ से मानवीय आधार और अंतरराष्ट्रीय खाद्य सहायता के लिए सार्वजनिक भंडारण से खाद्यान्न के निर्यात की अनुमति मांगी है।
डब्ल्यूटीओ सुधार : कामकाज में सुधार की कोशिशों में मदद करेगा
एक शीर्ष अधिकारी ने कहा कि भारत संगठन के कामकाज में सुधार की कोशिशों में मदद करेगा लेकिन इन सुधारों के साथ विकासशील देशों के लिये विशेष और अलग व्यवहार, आम सहमति आधारित रुख, कानून का शासन तथा विवाद समाधान व्यवस्था जैसे डब्ल्यूटीओ के महत्वपूर्ण स्तंभ बनाये रखे जाने चाहिए।
मत्स्य सब्सिडी : अपने मछुआरों के पक्ष में खड़ा होगा भारत
भारत मत्स्य सब्सिडी के मसले पर अपने मछुआरों के हितों की रक्षा करेगा। सदस्य देश गैरकानूनी, गैर-सूचित ओर अनियमित मछली पकड़ने के मामले में सब्सिडी को खत्म करने पर बातचीत कर रहे हैं। भारत का कहना है कि दूरदराज के जलक्षेत्र में मछली पकड़ने का काम नहीं करने वाले विकासशील देशों को जरूरत से अधिक मछली पकड़ने पर सब्सिडी प्रतिबंध से कम-से-कम 25 साल की राहत मिलनी चाहिए।
ई-कॉमर्स व्यापार पर सीमा शुल्क पर रोक
भारत ई-कॉमर्स व्यापार पर सीमा शुल्क पर रोक जारी रखने का कड़ा विरोध करेगा और इसे खत्म करने पर जोर देगा क्योंकि यह विकासशील देशों पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहा है।
बौद्धिक संपदा अधिकारों में छूट का पोप फ्रांसिस ने किया समर्थन
पोप फ्रांसिस ने कोविड-19 टीकों के लिए बौद्धिक संपदा अधिकारी में छूट की मांग का समर्थन किया है। साथ ही उन्होंने संयुक्त राष्ट्र से सभी लोगों के लिए कोरोना वायरस टीका तक पहुंच सुनिश्चित करने के उपायों को अपनाने के लिए कहा है।