छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
नई दिल्ली 14 जनवरी 2022। भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच टेस्ट सीरीज के तीसरे मैच में दक्षिण अफ्रीका की पकड़ मजबूत हो चुकी है। मैच के चौथे दिन अफ्रीकी टीम को जीत के लिए 111 रनों की जरूरत है, जबकि उसके आठ विकेट बचे हुए हैं। इस मैदान का रिकॉर्ड भी अफ्रीका के पक्ष में है। केपटाउन के मैदान में तीन बार किसी टेस्ट मैच की चौथी पारी में 200 से ज्यादा रनों के लक्ष्य का सफलतापूर्वक पीछा किया गया है और दो बार दक्षिण अफ्रीका ने यह कारनामा किया है। आखिरी बार 2011 में अफ्रीकी टीम ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 236 रनों के लक्ष्य का सफलतापूर्वक पीछा किया था।
इस सीरीज के दूसरे मैच में भी दक्षिण अफ्रीका ने चौथी पारी में तीन विकेट के नुकसान पर 243 रन बनाए थे। इससे अफ्रीकी टीम का आत्मविश्वास बहुत ऊपर होगा। हालांकि इस पारी में अफ्रीका के कप्तान डीन एल्गर ने नाबाद 96 रन बनाए। तीसरे टेस्ट में भारत उन्हें आउट कर चुका है। ऐसे में अफ्रीकी बल्लेबाज दबाव में आकर गलतियां कर सकते हैं। हालांकि आठ विकेट हाथ में होने पर 111 रन बनाना कोई मुश्किल काम नहीं होगा।
अफ्रीका के पास घरेलू मैदान का फायदा
इस मैच में अफ्रीका को घरेलू मैदान का फायदा भी मिलेगा। दक्षिण अफ्रीका के बल्लेबाजों के पास अनुभव की कमी जरूर है, लेकिन वो इन हालातों से भली भांति वाकिफ हैं। इसी वजह से उन्हें भारतीय खिलाड़ियों की तुलना में कम परेशानी हुई है और दूसरे मैच में पीटरसन और बावुमा ने भी आसानी से रन बनाए थे। पीटरसन इस पारी में भी 48 रन बनाकर कर खेल रहे हैं, जबकि बावुमा को अभी बल्लेबाजी के लिए आना बाकी है।
क्या है मैदान का इतिहास
इस मैदान में कुल तीन बार 200 से ज्यादा रन के लक्ष्य का सफलतापूर्वक पीछा किया गया है। सबसे पहले 2002 में ऑस्ट्रेलिया ने अफ्रीका के खिलाफ छह विकेट के नुकसान पर 334 रन बना कर मैच जीता था। इसके बाद 2007 में दक्षिण अफ्रीका के भारत के खिलाफ ही 211 रन का पीछा किया था और पांच विकेट से यह मैच अपने नाम किया था। वहीं 2011 में अफ्रीकी टीम ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दो विकेट के नुकसान पर 236 रन बनाकर जीत हासिल की थी। इसके बाद से इस मैदान में 200 से ज्यादा रनों के लक्ष्य का पीछा नहीं किया गया है।