छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
नई दिल्ली 01 अगस्त 2023। कांग्रेस नेता राहुल गांधी मंगलवार सुबह-सुबह दिल्ली की आजादपुर सब्जी मंडी पहुंच गए। वहां उन्होंने न केवल सब्जियों के भाव पूछे, बल्कि सब्जी विक्रेताओं से लेकर वहां काम कर रहे मजदूरों से भी बात की। इसके पहले राहुल गांधी एक मोटर मैकेनिक के पास पहुंच गए थे। दो दिन पहले उन्होंने अपनी मां सोनिया गांधी के घर पर हरियाणा की महिला किसान नेताओं के साथ खाना खाया था। किसानों, ट्रक ड्राइवरों और ट्रैक्टर चलाने वालों के साथ खड़ा होकर राहुल गांधी यह संदेश देना चाहते हैं कि उनकी पार्टी देश के सामान्य लोगों के साथ खड़ी है। लेकिन क्या कांग्रेस की यह रणनीति कारगर साबित होगी? राहुल गांधी के इस कार्यक्रम की सबसे बड़ी सफलता तो यही कही जा सकती है कि दिन की शुरुआत में ही वे एक एजेंडा सेट कर देते हैं। शेष पूरे दिन में उनके इन कार्यों की मीडिया और सोशल मीडिया में खूब चर्चा होती है। आज उन्होंने सब्जी विक्रेताओं से मिलने का काम ऐसे अवसर पर किया है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पुणे यात्रा को लेकर मीडिया में विशेष उत्साह दिखाया जा रहा है।
लेकिन अचानक ही आजादपुर सब्जी मंडी पहुंचकर राहुल गांधी ने मीडिया का ध्यान प्रधानमंत्री के कार्यक्रम की बजाय अपनी ओर खींच लिया है। राजनीति में प्रचार युद्ध का अपना विशेष महत्त्व होता है। इसे देखते हुए कहा जा सकता है कि दिन की पहली बाजी राहुल गांधी के नाम रही।
आम आदमी के साथ है पार्टीः कांग्रेस
कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता रितु चौधरी ने अमर उजाला से कहा कि जब नोटबंदी हुई थी और लोग अपने ही पैसे के लिए मोहताज हो गए थे, राहुल गांधी ने आम लोगों के साथ खड़े होकर एटीएम के सामने लाइन में लगकर पैसे निकाले थे। आज भी जब आम आदमी टमाटर, बैंगन, धनिया, मिर्च की महंगाई से परेशान हैं, राहुल गांधी उनके साथ खड़े दिखाई पड़ रहे हैं। इसके माध्यम से वे यही संदेश देना चाहते हैं कि वे देश के गरीबों, श्रमिकों और बेरोजगार युवाओं के साथ खड़े हैं।
रितु चौधरी ने कहा कि कांग्रेस की हमेशा से यही रणनीति रही है कि वह आम लोगों के लिए काम करती है और हमेशा उनके साथ खड़ी रहती है। उन्होंने कहा कि पार्टी शीघ्र ही राष्ट्रीय स्तर पर महंगाई-बेरोजगारी के विरुद्ध अभियान छेड़ेगी और लोगों को बताएगी कि किस तरह उनसे पेट्रोल-डीजल को महंगे दामों पर बेचकर उनसे जबरदस्ती पैसे वसूले जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस हमेशा आम आदमी की लड़ाई लड़ती रहेगी।
राजनीतिक कुशलता में लगातार मात दे रहा विपक्षी गठबंधन
राजनीतिक विश्लेषक संजय कुमार ने कहा कि राहुल गांधी की टीम लगातार प्रचार युद्ध में जनता का ध्यान अपनी ओर खींचने में कामयाब होती दिखाई पड़ रही है। विपक्षी गठबंधन का नाम इंडिया रखकर इस टीम ने ऐसा हमला किया है जिसका समाधान भाजपा की टीम नहीं कर पाई है। राहुल गांधी के आम लोगों से जुड़ने का यह कार्यक्रम भी उसी रणनीति का हिस्सा है।
चूंकि कांग्रेस महंगाई और बेरोजगारी को हथियार बनाकर ही अगले लोकसभा चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को घेरने की रणनीति बना रही है, पार्टी ने अगले तीन महीने अभियान चलाकर केंद्र सरकार को घेरने की रणनीति भी बनाई है, आम आदमी के साथ खड़े दिखने की राहुल गांधी की यह सोच कारगर साबित हो सकती है।
पीएम ने सफलतापूर्वक किया ये काम
संजय कुमार कहते हैं कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इस तरह के सियासी टोटके खूब करते हैं। वे किसानों, महिलाओं, छात्रों, चौकीदारों के साथ कार्यक्रम कर इन वर्गों के बीच अपने आपको लोकप्रिय बना चुके हैं। प्रयागराज में कुंभ आयोजन और काशी में मंदिर निर्माण में जुटे श्रमिकों के पैर धुल कर उन्होंने आम आदमी के दिल को छूने की इस राजनीति को एक नए स्तर पर पहुंचा दिया था। सामान्य लोगों के बीच उन्हें लोकप्रिय बनाने में यह रणनीति बहुत कारगर रही है। राहुल गांधी को भी इस रणनीति का लाभ मिलता दिख रहा है।