छत्तीसगढ़ रिपोर्टर
नई दिल्ली 12 अक्टूबर 2020। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लद्दाख, अरूणाचल प्रदेश, सिक्किम, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब और जम्मू-कश्मीर के सामीवर्ती इलाकों में बनाए गए 44 पुलों को सोमवार को राष्ट्र को समर्पित किया। ऑनलाइन कार्यक्रम में पुलों का उद्घाटन करते हुए सिंह ने अपने संक्षिप्त संबोधन में पाकिस्तान और चीन से लगती भारत की सीमा पर स्थिति का हवाला दिया।
रक्षा मंत्री ने कहा, “आप हमारे उत्तरी और पूर्वी सीमाओं पर बनाई गई स्थिति से परिचित हैं। पहले पाकिस्तान और अब चीन। ऐसा लगता है कि एक मिशन के तहत सीमा विवाद बनाए गए हैं। इन देशों के साथ हमारी करीब 7000 किलोमीटर लंबी सीमा है। ” सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ” दूरंदेश” नेतृत्व के अंतर्गत, भारत इन संकटों का न केवल मजबूती से सामना कर रहा है, बल्कि इन सभी क्षेत्रों में बड़े और ऐतिहासिक बदलाव भी ला रहा है। अधिकारियों ने बताया कि इन 44 पुलों में से अधिकतर रणनीतिक तौर पर अहम इलाकों में हैं और ये तेजी से सैनिकों और हथियारों की आवाजाही सुनिश्चित करने में सैन्य बलों की मदद करेंगे।
इनमें से सात पुल लद्दाख में हैं। रक्षा मंत्री ने डिजिटल कार्यक्रम के जरिए अरूणाचल प्रदेश में नेचिफू सुरंग की सांकेतिक आधार शीला रखी। ये पुल सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) ने बनाए हैं। इनका उद्धाटन ऐसे समय हुआ है जब भारत का पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ गतिरोध चल रहा है। सिंह ने कहा कि इन पुलों का निर्माण क्षेत्र में आम लोगों के साथ-साथ सेना के लिए भी फायेदमंद होगा। रक्षा मंत्री ने कहा, ” हमारे सशस्त्र बल के कर्मी उन इलाकों में बड़ी संख्या में तैनात हैं जहां साल भर परिवहन उपलब्ध नहीं रहता है।” उन्होंने रेखांकित किया कि सीमा अवसंरचना में सुधार से सशस्त्र बलों को काफी मदद मिलेगी।
राजनाथ सिंह ने कहा, “ये सड़कें न केवल रणनीतिक जरूरतों के लिए हैं, बल्कि ये राष्ट्र के विकास में सभी पक्षकारों की समान भागीदारी को भी दर्शाती हैं।” रक्षा मंत्री ने कोरोनो वायरस के कारण लगाए गए लॉकडाउन के दौरान भी अथक रूप से काम करने के लिए बीआरओ को बधाई दी। उन्होंने कहा, “बीआरओ ने पूर्वोत्तर राज्यों, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में अभियानों को जारी रखा। बीआरओ ने यह सुनिश्चित करते हुए अपना काम जारी रखा कि दूरदराज़ के इलाकों में बर्फ हटाने में देर नहीं हो।”
गौरतलब है कि चीन के साथ गतिरोध के बीच भारत ने कई अहम परियोजनाओं पर काम तेज कर दिया है। इसमें हिमाचल प्रदेश के दारचा को लद्दाख से जोड़ने वाली रणनीतिक तौर पर अहम सड़क शामिल है।